मृत्योपरांत भी देखेंगी बाबू जी की आंखें
-वसुधैब कुटुम्बकम् के अनुरोध पर 21वां नेत्रदान

मृतक किशन लाल मेहंदीरत्ता
काशीपुर। ब्रह्मलीन किशन लाल मेहंदीरत्ता निवासी प्रकाश रेजीडेंसी काशीपुर के देहावसान के पश्चात उनकी पत्नी श्रीमती बीना रानी, पुत्री अंजू कालरा, मंजू खुराना, रुचि सेठी, सोनिया अरोरा और दामाद सी कालरा, अमित खुराना, सचिन सेठी, लोकेश अरोरा ने नेत्रदान हेतु सहमति प्रदान कर एक अनुकरणीय उदाहरण प्रस्तुत किया। किशनलाल मेहंदीरत्ता अपने जीवनकाल में स्वयं धार्मिक व सेवा कार्याे में सलंग्न रहे एवम यह कार्य भी उनकी उसी प्रवर्ति के अनुरूप रहा। 7 सितम्बर को वसुधैव कुटुम्बकम काशीपुर के अनुरोध पर प्रकाश रेजीडेंसी सोसायटी के सचिव वैभव गुप्ता, राजीव सेतिया डम्पी, अमित विजय, अजय अग्रवाल के सहयोग से नेत्रदान की प्रकिया सम्पन्न हुई। संस्था के संस्थापक सदस्य अजय अग्रवाल ने बताया कि नेत्रदान से कोई अंग भंग नहीं होता है व केवल ऊपर की झिल्ली निकाली जाती है तथा नेत्रदान हेतु किसी भी समय संपर्क किया जा सकता है।