रूद्रपुर। मुख्य विकास अधिकारी आशीष भटगांई की अध्यक्षता में उनके कार्यालय कक्ष में जल जीवन मिशन व स्वजल की समीक्षा बैठक आयोजित की गयी। उन्होने कहा कि जल जीवन मिशन योजना मा0 प्रधानमंत्री की महत्वकांक्षी योजनाओं में से एक योजना है, जिसकी समीक्षा भारत सरकार के स्तर पर समय-समय पर आयोजित की जाती है। उन्होने कहा कि सम्बन्धित अधिकारी उक्त योजना को गम्भीरता से लेते हुए पात्र ग्राम सभाओं में पेयजल कनेक्शन उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। उन्होने कहा कि जल जीवन मिशन योजना के तहत जिन घरों में पानी नही है उन घरों में पाईप लाईन के माध्यम से पानी पहुंचाना है। उन्होने सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि क्षेत्र में अधिकारी जनप्रतिनिधियों के साथ समन्वय बनाते हुए कार्यों कार्य करें व कार्यों की निरन्तर माॅनिटिरिंग करें ताकि कार्य उच्च गुणवत्ता, पार्दर्शिता व समयबद्धता के साथ पूर्ण किया जा सके। उन्होने कहा कि यदि कार्यों में भूमि आदि से सम्बन्धित समस्या उत्पन्न होती है तो मुख्य विकास अधिकारी अथवा सम्बन्धित विभाग के उच्चाधिकारियों को तत्काल अवगत कराना सुनिश्चित करें ताकि समस्याओं का निस्तारण शीघ्र-अतिशीघ्र किया जा सके। उन्होने सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देश दिये कि गांवों में जल जीवन मिशन योजना को प्रभावी बनाने के लिए व जनता को जागरूक करने के लिए रोस्टर बनायें तथा रोस्टर के तहत खुली बैठक का आयोजन करायें ताकि अधिक से अधिक लोगों को उक्त योजना का लाभ मिल सके। उन्होने कार्यों के कम प्रगति पर नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि लक्ष्य के सापेक्ष कम है वे यथा शीघ्र कार्यों में प्रगति लायें। उन्होने कहा कि जल निगम एवं जल संस्थान आपस में समनव्य बना के कार्य करें ताकि कार्य में तेजी लाई जा सके। उन्होने सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देश दिये कि ब्लाॅक वार लिस्ट बना के डाटा एकत्रित करें एवं कार्यो में तेजी लाये। अधिशासी अभियन्ता जल निगम मृदुला सिंह ने बताया कि जनपद मे 611 ग्राम है जिसमें से 161 ग्राम में पूर्व से ही पानी की पाईप लाईन है वहां एफएचटीसी के कार्य नेटर्वक फीटिंग के माध्यम से किया जा रहा है, शेष ग्राम में जहां पूर्व से कोई पाईप लाईन नही है उन ग्रामों के लिए नई योजनाऐं बनाई जा रही है। उन्होने बताया कि जल निगम द्वारा 98 डीपीआर बनाई जा चुकी है जिसमें से 47 डीपीआर स्वीकृत हो गई है। इस अवसर पर पीडी हिमांशु जोशी, अधिशासी अभियन्ता जल निगम मृदुला सिंह, अधिशासी अभियन्ता जल संस्थान आरके श्रीवास्तव, आदि अधिकारी उपस्थित थे।